लग्न पत्रिका जारी करते हुए जानकी महल के ट्रस्टी श्री सुलतानिया ने बताया कि यह स्थान राम मंदिर आन्दोलन का केन्द्र रहा है। ऐसे में स्वाभाविक रूप से हम सभी सुप्रीम कोर्ट के फैसले से अत्यधिक प्रसन्न हैं। यह प्रसन्नता देश भर से जुड़े श्रद्धालुओं में भी है। यही कारण है कि राम विवाह के अवसर पर जानकी महल में उत्तर से लेकर दक्षिण और पूरब से लेकर पश्चिम तक के हजारों श्रद्धालु यहां आ रहे हैं। इन सभी के आवास और भोजन की सुविधा बनाने का प्रयास किया जा रहा है।उन्होंने बताया कि फैसले का उल्लास विवाहोत्सव में भी दिखाई देगा, जिसमें राम बारात की शोभा दर्शनीय होगी। उन्होंने बताया कि 1942-43 में स्थापित इस मंदिर का वार्षिकोत्सव राम विवाह ही है। इस मंदिर के संस्थापक मोहल लाल केजरीवाल व उनकी पत्नी लक्ष्मी केजरीवाल ने भगवती किशोरी को अपनी बेटी के रूप में स्वीकार उनके लिए महल का निर्माण कराया था।
तब से लेकर बीते 75 वर्षों से विवाहोत्सव ही यहां का मुख्य उत्सव बना है। राम बारात से पहले 29 नवम्बर को फुलवारी लीला के मंचन के अलावा 30 नवम्बर को किशोरी जी की मेंहदी के महिलाओं की मेंहदी प्रतियोगिता भी होगी और सायं लेडीज संगीत का विशेष कार्यक्रम भी आयोजित किया जाएगा। इसी तरह से एक दिसम्बर को राम बारात के उपरांत रात्रि में पूरे विधि- विधान से पाणिग्रहण संस्कार की रीति पूरी की जाएगी और फिर अगले दिन दो दिसम्बर को सायं कुंवर कलेवा का आयोजन किया जाएगा। इस अवसर पर विराजमान भगवान को 56 प्रकार के व्यंजनों का भोग लगाकर श्रद्धालुओं में प्रसाद का वितरण किया जाएगा।
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