बागपत के जिला अस्पताल के एक चिकित्सक की बड़ी ला’परवाही सामने आई है। आ’रोप है कि सर्जन ने महिला का प’थरी का ऑ’परेशन करने के बाद साफ-सफाई के लिए प्रयोग किए तौलिया-बैंडेज को अंदर ही छो’ड़ दिया। इसकी जानकारी ज्यादा द’र्द बढ़ने पर दिल्ली के अस्पताल में इं’डोस्कोपी कराने के बाद हुई। पी’ड़ित महिला को जब तक सही से उ’पचार मिल पाता तब तक शरीर में इंफे’क्शन पूरी तरह फैल चुका था। पांच दिन पूर्व शुक्रवार को महिला ने दिल्ली के एक अस्पताल में द’म तो’ड़ दिया। मा’मले में दिल्ली पुलिस ने भी संज्ञान लिया है। उधर, महिला की पोस्टमा’र्टम रिपोर्ट में भी पेट के अंदर तौलिया-बैंडेज छो’ड़ने की पुष्टि हुई है।नगर के पुराना कस्बा स्थित मल्लहान मोहल्ला निवासी महिला बेगम निशा (40) पत्नी कौशिद को पित्त की थैली में पथरी थी। करीब साढ़े पांच माह पूर्व वह ऑ’परेशन कराने के लिए जिला अ’स्पताल पहुंची।

वहां एक सर्जन ने महिला का ऑ’परेशन किया और ऑ’परेशन के तीन दिन बाद छुट्टी कर दी। चिकित्सक ने महिला का दो महीने बाद तक उ’पचार किया लेकिन उसका द’र्द कम नहीं हुआ।

वहां एक सर्जन ने महिला का ऑ’परेशन किया और ऑ’परेशन के तीन दिन बाद छुट्टी कर दी। चिकित्सक ने महिला का दो महीने बाद तक उ’पचार किया लेकिन उसका द’र्द कम नहीं हुआ।बताया कि महिला की हा’लत ज्यादा बि’गड़ने पर परिजनों ने उसे गत 15 अक्तूबर को दिल्ली के हिंदूराव अस्पताल में भ’र्ती कराया। वहां पर उसकी इं’डोस्कोपी कराई गई, जिसमें महिला के अंदर ऑ’परेशन के दौ’रान छोड़े गए तौलिया-बैंडेज की जानकारी हुई लेकिन तब तक इंफेक्शन महिला के पूरे शरीर में फै’ल चुका था। वहां पर चिकित्सकों ने महिला का दोबारा से ऑ’परेशन किया और उसके पेट से तौलिया और बैंडेज बाहर निकाला।

करीब पांच दिन पूर्व शुक्रवार को महिला की हा’लत ज्यादा बि’गड़ गई और उसने उप’चार के दौ’रान द’म तो’ड़ दिया। पीड़ि’ता का दिल्ली में ही पोस्टमा’र्टम हुआ। उसकी मौ’त से परिजनों में को’हराम म’चा हुआ है।मा’मला बेहद गंभी’र है लेकिन संज्ञान में नहीं है। इसकी जांच कराई जाएगी। यदि जांच में सर्जन दो’षी पाए जाते हैं तो उनके खि’लाफ कार्र’वाई होगी।
–बीएल कुशवाह, सीएमएस जिला अस्पताल

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