राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव के बड़े बेटे तेजप्रताप और बहू ऐश्वर्या राय के त’लाक प्रकरण में मंगलवार को फैमिली कोर्ट में सु’नवाई हुई, जिसमें कोर्ट ने ऐश्वर्या को अंतरिम गुजारा भत्ता देने का आदेश दिया है। कोर्ट के आदेश के मुताबिक, तेजप्रताप को ऐश्वर्या राय को गुजारा भत्ता के रूप में पोषण और आवास के लिए 22 हजार रुपये प्रति महीने देना होगा। इसके अतिरिक्त तेजप्रताप को ऐश्वर्या राय को मु’कदमा ल’ड़ने का खर्च भी वहन करना होगा और उन्हें अलग से दो लाख रुपए देने होंगे। कोर्ट ने यह राशि अंतरिम भ’रण-पोषण के रूप में देने का आदेश दिया है। पटना फैमिली कोर्ट ने ऐश्वर्या राय द्वारा दायर भरण-पोषण के आवेदन पर ये आदेश दिया है। ऐश्वर्या ने भरण-पोषण संबंधी आवेदन 13 नवंबर 2019 को दायर किया था। इस पर लंबी बहस चली।
दोनों पक्षों की ओर से कई जवाब दाखिल किए गए। ऐश्वर्या ने 17 दिसंबर को अदालत को बताया कि उसे ससुराल वालों ने घर से निकाल दिया है। यह भी बताया था कि तेज प्रताप उसके साथ न रहकर अलग रहते हैं।सूत्रों के अनुसार महिला हेल्पलाइन ने भी तेज प्रताप और ऐश्वर्या मामले की जांच कर सितंबर माह में अपनी रिपोर्ट अदालत में दाखिल कर दी थी। नवंबर माह में महिला हेल्पलाइन द्वारा एक अन्य जांच रिपोर्ट अदालत में दाखिल की गई थी। सूत्रों का कहना है कि हेल्पलाइन का मत था कि ऐश्वर्या राय और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी का साथ रहना उचित नहीं है। रिपोर्ट में अदालत को यह जानकारी भी दी गई थी कि ऐश्वर्या की आय का कोई साधन नहीं है। अदालत में यह बात सामने आई थी कि तेज प्रताप ने 2015 में विधानसभा चुनाव अपनी संपत्ति 2 करोड़ रुपये बताई थी। तेज प्रताप का एक भारतीय कंपनी में 25 लाख रुपये का शेयर भी है।
बीएमडब्लू कार है। कोर्ट में उनकी ओर से आयकर रिटर्न दाखिल कर बताया गया है कि उनकी सालाना आय 10 लाख रुपये है। गौरतलब है कि हाल ही में ऐश्वर्या राय ने तेजप्रताप की मां और बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी, पति तेजप्रताप यादव और उनकी बड़ी बहन मीसा भारती के खि’लाफ घरेलू हिं’सा का मा’मला द’र्ज कराया है। ऐश्वर्या राय ने अपनी सास राबड़ी देवी पर द’हेज के लिए प्र’ताड़ित करने और बाल खीं’च-खीं’चकर मा’रने और घर से बाहर निकालने का आ’रोप लगाया था। इसके जवाब में राबड़ी देवी की तरफ से भी एक केस द’र्ज कराया गया था, जिसमें ऐश्वर्या द्वारा उनपर हाथ उठाने और पी’टने का आ’रोप लगाया गया था। इस आ’रोप को राजद नेता शक्ति सिंह यादव ने सही ठहराया था।
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