पटना में बाढ़ का खतरा बढ़ता जा रहा है। गुरुवार देर रात बांध में रिसाव की सूचना से हड़कंप मच गई। बांध पर पानी का दबाव भी बढ़ रहा है। ऐसे में कभी भी स्थिति कंट्रोल के बाहर हो सकती है। देर रात डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह ने अफसरों के साथ बांधों का निरीक्षण किया। कई घाटों को खतरनाक घोषित करते हुए इसके आसपास के इलाकों को प्रतिबंधित क्षेत्र घोषित कर दिया है।
पटना नहर पर पानी का दबाव तेजी से बढ़ रहा है। गंगा के बढ़ते जल स्तर के कारण दीघा लॉक में गेट को बंद कर दिया गया है। वहां 8 पंप से पानी की निकासी की जा रही है। लेकिन जल संसाधन विभाग के अभियंता ने बताया है कि 8 पंप में से मात्र 3 ही पूरी क्षमता के साथ काम कर रहे हैं। इसके कारण पटना नहर में पानी का दबाव बढ़ गया है।




रात में डीएम ने किया निरीक्षण।
इसके बाद सभी 8 पंप को पूरी क्षमता से काम करने का निर्देश दिया गया है। डीएम ने सभी अधिकारियों को अलर्ट मोड पर रहने को कहा है, जिससे आपात स्थिति से लोगों को बचाया जा सके। इसके साथ ही बचाव को लेकर व्यवस्था पूरी तरह मजबूत करने के निर्देश दिए हैं।

रात में पंपिंग हाउस का जायजा लेते पटना डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह।
11 बजे रात में लगाई गई विशेष टीम
गुरुवार की रात 11 बजे पटना नहर में पानी के दबाव औा तटबंध में रिसाव की सूचना मिलते ही जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया। इसके तुरंत बाद डीएम ने बांध का निरीक्षण किया और सभी संबंधित अधिकारियों को लगातार सतर्क रहने का आदेश दिया। डीएम ने कहा कि सुरक्षा के इंतजाम के साथ यह व्यवस्था सुनिश्चित कर ली जाए कि आपात स्थिति में कैसे सामना करना है।

भद्र घाट से कंगनघाट तक डेंजर जोन
जिला प्रशासन ने भद्र घाट से कंगन घाट को पूरी तरह से प्रतिबंधित क्षेत्र घोषित कर दिया है। इस क्षेत्र को डेंजर बताया गया है और कहा गया है कि इस क्षेत्र में आवागमन पूरी तरह से प्रतिबंधित होगा। इसके लिए जगह जगह पोस्टर लगवाए हैं।

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